मेरा नाम अनिल कुमार है. मे कुछ दिनों पहले गुरुग्राम में रहने आया था. उम्र २६ साल. मेरी कंपनी का ऑफिस गुरुग्राम में आने के वजसे मुझे भी यहाँ रहने आना पड़ा. रहने के लिए एक बिल्डिंग में भाड़े पे घर ले लिया था. सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए मेने एक छोटासा कैमरा कमरे के दरवाजे के बहार लगा दिया था. कैमरा काफी छोटा होने के वजसे बाहर से देखने पर पता नहीं चलता था.
पूरा दिन में काम पे रहता था. लेकिन मेरी एक आदत थी के रात को सोने के पहले में एकबार घर का कैमरा ने क्या रेकॉर्डिग किया हे वो जांच लेता था. मेरे कमरे के सामने के कमरे में एक पति पत्नी रहते थे. पति सुबह १० बजे काम पे चला जाता था और शाम को ७ बजे वापस आता था. भाभी काफी सेक्सी थी. कटीला बदन. बड़े मम्मे देखकर मुँह में पानी आ जाये. एकबार लिफ्ट में मेरे साथी थी. मेरे आगे ही खड़ी थी. उसवक्त मेरी नजर भाभी के शरीर पर घूमने लगी. ऊपर से निचे तक पाठका थी. गोरा बदन, पतली कमर. बड़ी गांड देखकर मन तो हो रहा था इसे यहाँ पे ही लिफ्ट में चोद दू. मेरी नजर थी भाभी पे लेकिन ज्यादा मौका नहीं मिल रहा था बातचीत करने का. में हररोज दरवाजे पे लगे कैमरा से भाभी की झलक देखा करता था.
आस पास चोरिया भी होती थी इसलिए कैमरा देखना भी पड़ता था. पहले कुछ हफ्ते तो कुछ भी नहीं ऐसा मिला. लेकिन कुछ हफ्ते बाद मेने देखा सामने के कमरे में दुपहर के वक्त एक आदमी कपडे लेकर आता था और वो भाभी को कपडे देते हुए उनकी काफी देर तक बाते चलती थी. दोनों को मेने हसकर बाते करते हुए देखा था.
उस आदमी के हात में कपडे देखकर पता लगता था के वो लॉन्ड्री वाला था. कपडे इस्त्री करकर लाकर देता था. जैसे जैसे दिन आगे बढ़ने लगे, मेने देखा वो आदमी अब घर के अंदर दाखिल होने लगा. भाभी उसे अंदर बुलाया करती और वो अंदर जाकर उनसे बाते करता.
एक दिन मेने देखा उस आदमी और भाभी के बिच बाते चल रही थी. कमरे का दरवाजा खुला था और सामने ही दोनों हसकर बाते कर रहे थे. अचानक उस आदमी ने बाते करते करते भाभी के मम्मो को दबाना सुरु किया. भाभी ने उसपर आदमी को कुछ भी नहीं कहा. वो दबाता रहा और उनकी बाटे चलती रही. फिर वो चला गया.
ये सब देख मुझे जरा भी देर नहीं लगी ये समझनेमें के भाभी की उस आदमी के साथ चक्कर चल रहा है. पति जाने के बाद अपने आशिक से के साथ गुलछर्रे उड़ा रही है.
हर २ से ३ दिन बाद वो आदमी आता. दोनों की हसकर बाते होती और वो काफी बार कमरे में जाकर भाभी से मिलता.
लेकिन एक दिन मेने वीडियो में देखा की वो आदमी आया करीब दुपहर के १२ बजे. भाभी ने उसके हातोंसे कपडे लिए और वो अंदर कपडे रखने चली गयी. ये आदमी ने एकबार आगे पीछे देख पुस्टि की के कोई नहीं देख रहा. फिर सीधा कमरे में भाभी के पीछे चला गया. कमरे का दरवाजा खुला था. कुछ देर तक तो दरवाजे के सामने कोई नहीं आया. फिर कुछ देर बाद भाभी आयी और उन्होंने दरवाजा बंद किया.
मुझे शक हुआ की अंदर कुछ तो चल रहा था. भाभी के कमरे का दरवाजा करीब १ घंटे बाद करीब १. १० मिनट को खुला. वो आदमी कमरे से बाहर निकला. पीछे पीछे भाभी भी आयी. दोनोने मुस्कुराते हुए कुछ बातचीत की और वो आदमी चला गया. भाभी ने फिर दरवाजा बदन किया.
में समज गया के दोनों चुदाई कर रहे थे. मेरे पास अब पूरा वीडियो था. करीब १ पूरा दिन में सोचता रहा की इस वीडियो का क्या कर सकता हु में.
फिर मेरे दिमाग में एक ख्याल आया. मुझे भाभी को चोदने का बहोत मन था. मेने सोचा इस वीडियो का फायदा उठाकर में भाभी को चुदवाने के लिए मना सकता हु.
दुसरेही दिन में सीडीओ पे भाभी का अनेका इंतजार कर रहा था. भाभी करीब ११ बजे सब्जी लेने निचे जाती थी. कुछ देर बाद जब भाभी को ऊपर आते देखा तो मेरी धड़कने बढ़ने लगी.
हिम्मत करके मेने भाभी को आवाज लगायी. वो रुकी। मेने भाभी को कहा मुझे कुछ आपको दिखाना है. और मेने अपने मोबाइल पे भाभी को उनके घरमे आनेवाले आदमी का वीडियो दिखाया. भाभी वीडियो देखकर दर गयी
वो मुझे पूछने लगी. तुम्हे कैसे पता चला. उनकी जबान फिसल रही थी. हडबडात में बोली, इसे डिलीट कर दो.
में कर दूंगा भाभी. लेकिन मुझे इससे क्या फायदा होगा.
भाभी ने मेरी तरफ एक नजर देखा और बोली तुम्हे पैसे चाहिए तो में तुम्हे दे दूंगी.
मेने कहा मुझे पैसे नहीं चाहिए. मुझे वो चाहिए जो अपने इस आदमी को दिया था.
भाभी घबराई. डर के मारे पानी पानी हो रही थी.
तभी मेने भाभी को कहा. आप डरोमत। ये बात सिर्फ हम दोनों के बिच रहेगी.
में आपका पडोसी हु. अकेला ही रहता हु. आपो मेरे तरफ से कोई परेशानी नहीं होगी.
लेकिन आपको भी मेरा सात देना होगा.
में अभी घर में अकेला ही हु. आप आराम से सोच लो फिर हम बात करते है. में अपने रूम का दरवाजा खुला ही रखा है.
ऐसे कहकर में अपने रूम में चला गया और दरवाजा खुला ही छोड़ दिया.
में अंदर जाकर टीवी लगाकर बैठा था. कुछ देर बाद भाभी मेरे कमरे में आयी. अभी भी उनके चेहरे पर डर दिख रहा था. अंदर आकर मेरे रूम में यहाँ वह देखने लगी.
में उठकर गया और पहले तो अंदर से दरवाजा बंद किया. भाभी को मेने कहा कोई नहीं है भाभी दरोमत. में अकेला ही रहता हु. भाभी मेरी तरफ देखने लगी. और बोली अब क्या करना है.
में भाभी की तरफ देखने लगा. भाभी ने गुलाबी रंग का सलवार कमीज पहन रखा था. दुपट्टा सीधा करते हुए मेरी तरफ देखने लगी. मेने हिचकिचाते हुए भाभी को कहा आप बहोत ही खूबसूरत लग रही हो इस ड्रेस में.
भाभी थोड़ा शरमाई. में करीब आ गया और धीरेसे भाभी को गले लगाया. भाभी ने भी मुझे करीब लिया. मेने कसकर भाभी को पकड़ा और अपने सीने से लगा दिया. जैसे मेरे हाट भाभी के पीठ पर लगे मेरे लंड ने सलामी दे दी. में भाभी को गले लगाकर अछेसे भाभी के पीठ पर घुमाने लगा. भाभी का शरीर काफी कोमल था. बड़े मम्मे मेरी छातीपर दब रहे थे. फिर मेने भाभी के गर्दन पर चुम्मी ली. चुम्मी लेते ही भाभी पिघल गयी. सिसकते हुए भाभी ने मुझे कसकर गले लगाया.
में भाभी की गर्दन चूमते हुए उसके होठो तक पोहचा और होठो को चूमने लगा. अहहहह. क्या होठ थे भाभी के. कोमल होठ पे मेरे होठ लगते ही भाभी ने मुझे कसकर पकड़ा और चूमने लगी. ऐसे लग रहा था की भाभी भी बहोत दिनों से भरी पड़ी है. दोनों भी बड़े मजे लेकर एक दूसरे को चुम रहे थे. भाभी का दुप्पटा निचे गिरा और मेरे दोनों हात सीधे भाभी के ममो पर. होटोंको चूमते हुए भाभी के दोनों मम्मो को दबाने लगा.अहहह.. काफी मुलायम थे भाभी के दोनों मम्मे . जोर जोर से दोनों हातोंसे मम्मो को मसलने लगा.
मेरे शरीर की गर्मी अब चर्म सिमा पर पहोच गयी थी. भाभी को किस करते हुए अपना शर्ट उतरा. फिर भाबीह की कमीज़ उठाई और निकला कर सोफे पे फेक दी. भाभी का ब्रा दिखने लगा और उसमे छुपे गोरेगोरे मम्मो के दर्शन हुए. मम्मो की बिच की दरार देख मुझसे रहा नहीं गया और में सीधा मम्मो पर टूट पड़ा. चुने लगा मम्मो को ब्रा के ऊपर से. जितनी भी जगा मिल रही थी उसपर अपने होठ लगाने लगा. जीभ दोनों मम्मो के बिच डालकर चाटने लगा.
मेरी बैचेनी देख भाभी ने ब्रा खोल दी. जैसे ब्रा खोली मेने खींचकर उसे हटा दिया। ब्रा हटते ही मानो में पागल सा हो गया. चूचियों को मुँह में लेकर चूसने लगा. होठोंसे चूचियों को पकड़कर खींचने लगा. भाभी सिसकने लगी. आहहहह सशशश.. शशशश. अहहहहहह. भाभी की गर्म आवाजसे में और भी उत्तेजित होने लगा.
जोर जोर से मम्मो को दबाकर चूसने लगा. अहहहहह. श्श्श्ष्ष. काफी देर तक मम्मो को चूसने के बाद जब पीछे हटा. मेने देखा भाभी की आखो में भी हवस भर चुकी थी. वो बिखरे हाल और नशीली आखे.
मेने तुरंत भाभी को पास के सोफे पे बैठाया. निचे झुककर भाभी की सलवार पकड़ी और दोनो हातोंसे से सलवार खींच कर उतर दी. भाभी की पैंटी दिखने लगी. गुलाबी रंग की पैंटी पहनी थी.
मेरा तना हुआ लंड अब बहार निकलने के लिए उछल रहा था. मेने अपनी पहनी हुयी पैंट उतर दी. साथ में अंडरवेर भी खींच ली.
जैसे ही मेरा लंड उछल कर बहार निकला भाभी देखकर शरमाई. मेने पैंट को दूर फेका और लंड को भाभी के मुँह के सामने लाकर रख दिया. भाभी समाज गयी अब आगे क्या करना है.
भाभी ने लंड को मुठी में पकड़ा और हिलाने लगी. अहहहहहह. भाभी का कोमल हात लंड पर कहर ढा रहा था. जोर जोर से लंड को हिलाते हुए भाभी ने अपनी जबान लैंड के आगे की और लगायी और चाटने लगी. गुलाबी लंड के ऊपर भाभी की जबान घिसने लगी. अहःअहः.. अहहहहह.. यही वो पल था जब में भाभी को अपना दिल दे बैठा. भाभी ने जबान से लंड को ऊपर से निचे तक चाट लिया. फिर धीरेसे अपने मुँह में लंड को लेकर चूसने लगी. आहहहह. श्श्श्ष. श्श्श. लंड बड़ा होने की बजसे आधा ही मुँह में जा रहा था. लंड को चूसते हुए भाभी मेरे गोटियोंको मसलने लगी. अहहह. बड़ा ही मजा आ रहा था.
ष्षष. अहहहहह. श्श्श्हशस. उफ्फफ्फ्फ़ अहःअहः.
कुछ देर बाद मेने भाभी का मुँह दोनों हातोंसे पकड़ा और भाभी को मुँह में लंड घुसेड़ कर चोदने लगा. भाभी के मुँह में जोर जोर से लंड को दाल चोद रहा था. अहहह अहहह स.स..सशहह अहःअहः. श्श्श्श..
काफी देर मुँह को चोदने के बाद जब लंड को बाहर खींचा, लंड पूरा गिला हो चूका था.
मेने भाभी को हात पकड़कर उठाया. और अपने कमरे में ले गया. बेड पर लिटा के सीधा उसके ऊपर लेट गया. फिर ऊपर से चूमते हुए निचे आगे लगा. होठोंसे होकर मम्मो तक पोहचा. मम्मो को फिर से एक बार मजे से चूस लिया. दबा दबाकर मम्मो को लाल कर दिया था. फिर भाभी की दोधी पे चूमते हुए जबान को दोधी के अंदर डालकर चूसने लगा. आह्हः, उम्म्म्म अआए मममम अम्मामा अह्ह्ह्हम्म्म। …
भाभी तड़पने लगी थी. आह्हः. अह्ह्ह्हह श
फिर में निचे खिसका. और भाभी के जांग पे चूमते हुए भाभी की पैंटी उतार दी. जैसे ही मेने भाभी की चुत देखि, मुँह से पानी आने लगा. मेने भाभी के पैर फैलाये और चुत को चाटने लगा. उम्म्म ाममममम. अम्म्मम्म. अहःअहः. उम्मम्मम अअअअअम्मम्म ाहाहहममम
चुत गीली हो गयी थी. जितना चाटो उतना चुत से पानी निकल रहा था. चुत के अंदर तक जबान डालकर चाट लिया. फिर उठकर अपना लंड चुत पे रखा और धीरेसे चुत में धकेल दिया. भाभी मेरी तरफ देख चुत में लंड जाते हुए महसूस कर रही थी. पूरा लंड मेने भाभी के चुत में डाला और भाभी पे लेट कर भाभी को चोदने लगा.
आअह्ह्ह. आअह्ह्ह्हह. दोनों भी चोदने का आनंद लेने लगे. भाभी का कामुक बदन लंड को और कठोर कर रहा था. सकरे चुत के गद्दे में जब लंड घिस रहा था बहोत मजा आ रहा था.
मेने जोर जोर से भाभी की चुत को चोदना सुरु किया. आह्हः अहहह अहहह.
काफी देर चोदने के बाद पीछे हटा. गिला लंड लेकर भाभी के बगल में सोया. भाभी का एक पैर पिछेसे उठाकर निचे से लंड को फिर चुत में डाला और चोदने लगा. पीछे से कमर को पकड़कर कसकर चोद रहा था. भाभी भी पलंग की चद्दर को कसकर पकड़ कर आआह भर रही थी.
अहहह अहःअहः अहहह. ष्षष.. श्श्श. सुसुसुस अहहहह. श्श्श्श उफ्फ्फ्फ़.
कुछ देर चोदने के बाद भाभी को घोड़ी बनाया. भाभी ने गांड ऊपर की. गांड देखकर मेरा हात सीधा गांड पे चला. मेने कसकर भाभी की गांड पे दो चपेट मरी. फिर अपना चुत में घुसेड़ा और भाभी की कमर को कसकर पकड़कर चोदने लगा. अहहह. अहःअहः. श्श्श्श. आहहहह.
इसबार लंड पूरा अंदेरतक जा रहा था. आहहहह. बहोत मजा आने लगा. अहःअहः अहहह। . भाभी काफी चिल्ला रही थी. अहहह हहहहह. अहःअहः. दोनों की भी गर्मी चर्म सिमा पे थी. दोनों चोदने के पूरा आनंद ले रहे थे. अहहह अहहहहहह हहहहह.
लंड अभी पानी निकालने के लिए तैयार था. मेने चोदते हुए जैसे लंड का पानी नोक तक पोहचा, तुरंत लंड को बाहर खींचा और सारा पानी भाभी की गांड पे उड़ा दिया. पानी को बौछार होने लगी. सफ़ेद रंग का पानी पुर गांड पे फ़ैल गया. कुछ बूंदे भाभी के पीठ तक चली गयी.
पूरा पानी गांड पे दाल जब लंड शांत हुआ में पीछे हटा. दोनों भी जोर जोर से सास ले रहे थे. में उठकर पलंग से निचे उतरा और कपडे पहने लगा. भाभी कुछ देर लेटी रही. फिर भाभी को एहसास हुआ के वो मेरे घर में है. वो तुरंत उठी और कपडे पहनकर अपने रूम में चली गयी.
उस दिन के बाद भाभी ने मुजसे बहोत बार चुदवाया। उसके पति को इस बात की कानोकान खबर नहीं थी.
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